रायपुर . जाति प्रमाण पत्र बनाने लोगों को अब आवेदन करने के लिए भी दफ्तरों के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे। जिला प्रशासन की ओर से अगले महीने से जाति प्रमाण पत्र बनाने की प्रक्रिया ऑनलाइन की जा रही है। इतना ही नहीं प्रमाण पत्र बनाने का काम किस स्टेज पर ही इसकी जानकारी भी एसएमएस से मिलते रहेगी। सोमवार को कलेक्टोरेट के सभागार में छत्तीसगढ़ राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग के अध्यक्ष डॉ. सोमनाथ यादव की अध्यक्षता में हुई बैठक में यह फैसला
लिया गया।
जिले के कलेक्टोरेट डॉ. रोहित यादव ने बताया कि जाति प्रमाण पत्र बनाने की पूरी प्रक्रिया को एक माह के भीतर ऑनलाइन कर दिया जाएगा। इस नई सुविधा के साथ ही जिले के लोग कभी भी कहीं से प्रमाण पत्र बनाने के लिए ऑनलाइन आवेदन कर सकेंगे। बैठक में उन्होंने जानकारी दी कि जिले में स्कूली छात्रों को जाति प्रमाण पत्र बनाने के लिए विशेष अभियान चलाया जा रहा है। इसके तहत राजस्व अधिकारी स्कूलों में जा कर बच्चों से फॉर्म भरवाते हैं। सभी दस्तावेजों को छानबीन समिति से सत्यापित करने का काम भी राजस्व अधिकारी करते हैं। इससे छात्रों को स्कूल में ही स्थायी जाति प्रमाण पत्र उपलब्ध हो जाता है। इस अभियान के शुरू होने के कुछ महीने बाद ही अन्य पिछड़ा वर्ग के 4017 छात्रों के जाति प्रमाण पत्र बनाकर उन्हें दे दिए गए हैं।
ऐसा जारी होगा ऑनलाइन प्रमाण पत्र : कलेक्टर डॉ. यादव ने बताया कि जिले में जाति प्रमाण पत्र बनाने की प्रकिया को ऑनलाइन करने का काम 80 फीसदी पूरा कर लिया गया है। जिले के मिसल रिकार्ड पहले ही ऑनलाइन किए जा चुके हैं। ऑनलाइन जाति प्रमाण पत्र बनाने के लिए आवेदकों को चॉइस सेंटरों से आवेदन करना होगा।
कंप्यूटर से आवेदन पत्र तहसील कार्यालय जाएगा। यहां से अस्थाई प्रमाण पत्र बनकर ऑनलाइन ही अनुविभागीय अधिकारी राजस्व के पास भेजे जाएंगे। जहां आवश्यक जांच एवं दस्तावेजों को पूरा कर स्थायी जाति प्रमाण पत्र बनाकर सत्यापन के लिए छानबीन समिति के पास भेजा जाएगा। छानबीन समिति से परीक्षण के बाद आवेदन वापस चॉइस केंद्र भेजे जाएंगे। जहां से आवेदकों को स्थायी जाति प्रमाण पत्र मिल जाएगा। इस पूरी प्रक्रिया के दौरान प्रमाण पत्रों के हर चरण पर की गई कार्यवाही का विवरण आवेदकों को एसएमएस से मिलता रहेगा।