वेतन आयोग ने की एकल पुरुष अभिवावक को भी अवकाश देने की सिफारिश

नई दिल्ली : सातवें वेतन आयोग ने अपनी रिपोर्ट में एकल पुरुष अभिवावक के लिए अपने बच्चों की देखभाल के लिए अवकाश (सीसीएल) की सिफारिश की है। अभी यह सुविधा सिर्फ महिला कर्मचारियों को मिलती है।
महिला कर्मचारियों को पूरे सेवा काल में अधिकतम दो साल की अवधि (730 दिन) के बराबर का अवकाश अपने नाबालिग बच्चों (18 साल की उम्र तक) की देखभाल के लिए दिया जाता है। न्यायमूर्ति ए के माथुर की अध्यक्षता वाले वेतन आयोग ने गुरुवार को केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली को अपनी सिफारिशें सौंपी थी।

रिपोर्ट में कहा गया है, ‘आयोग का मानना है कि यदि पुरुष कर्मचारी एकल पुरुष अभिवावक है तो बच्चों के पालन-पोषण की जिम्मेदारी सीधे तौर पर उसी के कंधों पर होती है। लिहाजा, सीसीएल की सुविधा एकल पुरुष अभिवावक को भी देने की सिफारिश की जाती है।’ आयोग ने सिफारिश की कि पहले 365 दिनों के लिए वेतन के 100 फीसदी और अगले 365 दिनों के लिए वेतन के 80 फीसदी के हिसाब से सीसीएल की सुविधा दी जाए।

सीसीएल की सुविधा पहली बार छठे वेतन आयोग द्वारा शुरू की गई थी। रिपोर्ट में यह भी कहा गया कि कुछ ऐसे नियम-कायदों की ‘स्पष्ट जरूरत’ है ताकि सुनिश्चित किया जा सके कि सिर्फ वाजिब तौर पर प्रभावित कर्मियों को इस योजना का लाभ मिले। रिपोर्ट में कहा गया, ‘इस बाबत आयोग सिफारिश करता है कि पहले 365 दिनों के लिए वेतन के 100 फीसदी जबकि अगले 365 दिनों के लिए वेतन के 80 फीसदी के हिसाब से सीसीएल की सुविधा दी जाए।’

रिपार्ट में यह भी कहा गया कि आयोग ऐसी कर्मचारियों के कंधों पर अतिरिक्त जिम्मेदारी को समझता है जो एकल मां हैं। 900 पन्नों वाली रिपोर्ट के मुताबिक, ‘इसी हिसाब से सिफारिश की जाती है कि ऐसे कर्मचारियों के लिए एक कैलेंडर वर्ष में तीन चरणों की शर्त में थोड़ी ढील देकर इसे छह चरणों में कर दिया जाए।’www.facebook.com/teacherharyana www.teacherharyana.blogspot.in (Recruitment , vacancy , job , news)

No comments:

Post a Comment

thanks for your valuable comment

See Also

Calculate your age

Age Calculator Choose date of birth: OR enter birth details: / / Calculate Age