चंडीगढ़ : हरियाणा के बिजली वितरण निगमों में तैनात करीब साढ़े चार हजार कच्चे कर्मचारियों की नौकरी फिलहाल बच गई है। नई नियुक्तियां नहीं होने के कारण इनका अनुबंधं छह महीने के लिए बढ़ा दिया गया है। वहीं, सर्व कर्मचारी संघ ने वर्कलोड को देखते हुए सभी कच्चे कर्मचारियों को पक्का करने की मांग की है।फिलहाल उत्तर व दक्षिण हरियाणा बिजली वितरण निगमों में लगभग बारह हजार कर्मचारी ठेके व अनुबंध पर काम कर रहे हैं। उत्तर हरियाणा बिजली वितरण निगम ने विगत 16 फरवरी को करीब साढ़े चार हजार कर्मचारियों की सेवाएं समाप्त कर दी थीं। इससे बिजली सेवाएं पटरी से उतर गईं। बिजली कर्मचारियों की यूनियनों के दबाव के बाद निगम के चेयरमैन शत्रुजीत कपूर ने इन कर्मचारियों को छह महीने का और सेवा विस्तार दे दिया। अहम बात ये कि इनकी सर्विस में 17 फरवरी को एक दिन का ब्रेक दिया गया जिससे ये सरकार पर पक्का करने का दबाव नहीं बना सकते। अब ये कर्मचारी 17 अगस्त तक नौकरी पर रहेंगे। इनमें से 1589 को निगम ने सीधे भर्ती किया है, जबकि 2099 ठेकेदार के जरिए स्वीकृत पदों के विरुद्घ लगाए गए हैं। इसके अलावा 757 को ठेकेदार और निगम ने सीधे भर्ती किया है। सरकार के पास इनकी सेवाएं किसी भी समय समाप्त करने का अधिकार है। इन कर्मचारियों के पक्ष में सिर्फ यही है कि नई भर्ती हो नहीं रही और काम का बोझ स्वीकृत पदों के मुकाबले काफी ज्यादा है। सेवा विस्तार पाने वाले कर्मियों में सहायक लाइनमैन चपरासी शामिल हैं। सर्व कर्मचारी संघ के महासचिव सुभाष लांबा ने बताया कि ये कर्मचारी वर्ष 2009-10 से उत्तर हरियाणा बिजली वितरण निगम में सेवारत हैं।
साढ़े चार हजार कच्चे बिजली कर्मचारियों की नौकरी बची
चंडीगढ़ : हरियाणा के बिजली वितरण निगमों में तैनात करीब साढ़े चार हजार कच्चे कर्मचारियों की नौकरी फिलहाल बच गई है। नई नियुक्तियां नहीं होने के कारण इनका अनुबंधं छह महीने के लिए बढ़ा दिया गया है। वहीं, सर्व कर्मचारी संघ ने वर्कलोड को देखते हुए सभी कच्चे कर्मचारियों को पक्का करने की मांग की है।फिलहाल उत्तर व दक्षिण हरियाणा बिजली वितरण निगमों में लगभग बारह हजार कर्मचारी ठेके व अनुबंध पर काम कर रहे हैं। उत्तर हरियाणा बिजली वितरण निगम ने विगत 16 फरवरी को करीब साढ़े चार हजार कर्मचारियों की सेवाएं समाप्त कर दी थीं। इससे बिजली सेवाएं पटरी से उतर गईं। बिजली कर्मचारियों की यूनियनों के दबाव के बाद निगम के चेयरमैन शत्रुजीत कपूर ने इन कर्मचारियों को छह महीने का और सेवा विस्तार दे दिया। अहम बात ये कि इनकी सर्विस में 17 फरवरी को एक दिन का ब्रेक दिया गया जिससे ये सरकार पर पक्का करने का दबाव नहीं बना सकते। अब ये कर्मचारी 17 अगस्त तक नौकरी पर रहेंगे। इनमें से 1589 को निगम ने सीधे भर्ती किया है, जबकि 2099 ठेकेदार के जरिए स्वीकृत पदों के विरुद्घ लगाए गए हैं। इसके अलावा 757 को ठेकेदार और निगम ने सीधे भर्ती किया है। सरकार के पास इनकी सेवाएं किसी भी समय समाप्त करने का अधिकार है। इन कर्मचारियों के पक्ष में सिर्फ यही है कि नई भर्ती हो नहीं रही और काम का बोझ स्वीकृत पदों के मुकाबले काफी ज्यादा है। सेवा विस्तार पाने वाले कर्मियों में सहायक लाइनमैन चपरासी शामिल हैं। सर्व कर्मचारी संघ के महासचिव सुभाष लांबा ने बताया कि ये कर्मचारी वर्ष 2009-10 से उत्तर हरियाणा बिजली वितरण निगम में सेवारत हैं।