कोटा.आईआईटी से बीटेक की डिग्री करने के लिए 4 साल में 1.60 लाख रु. फीस ज्यादा देनी होगी। अब तक ट्यूशन फीस, मैस, हॉस्टल व अन्य सभी खर्च मिलाकर 3.33 लाख रुपए फीस थी, लेकिन 2013 से ट्यूशन फीस में सालाना 80% वृद्धि करने की सिफारिश की गई है। अब चार साल में 4.93 लाख रु. फीस देनी होगी। स्टैंडिंग कमेटी ने देश के 13 आईआईटी में बीटेक प्रोग्राम की ट्यूशन फीस 50 हजार से बढ़ाकर 90 हजार रुपए सालाना करने का प्रस्ताव किया है।
फीस में वृद्धि के प्रस्ताव पर 7 जनवरी, 2013 को होने वाली आईआईटी काउंसिल की बैठक में मुहर लगी तो 2013 में एडमिशन लेने वाले छात्रों को 80 फीसदी फीस ज्यादा देनी होगी। 4 साल बाद होने वाली यह वृद्धि केवल सामान्य वर्ग के छात्रों पर लागू होगी। ओबीसी, एससी या एसटी वर्ग के छात्रों से ट्यूशन फीस नहीं ली जाती है।
आईआईटी निदेशकों का कहना है कि बढ़ती महंगाई को देखते हुए आईआईटी का बजट जबर्दस्त घाटे में चल रहा है। छठा वेतनमान लागू होने के बाद फैकल्टी का वेतन 70 फीसदी बढ़ा है। सैलेरी व स्कॉलरशिप पर होने वाले मोटे खर्च के कारण संस्थानों में वार्षिक घाटा बढ़ रहा है। केंद्र सरकार से मिलने वाले अनुदान से भी घाटे की भरपाई नहीं हो पा रही है। इसे देखते हुए अब ट्यूशन फीस बढ़ाने का प्रस्ताव किया गया है।
1953 में थी 500 रुपए फीस
सबसे पहले 1953 में आईआईटी संस्थानों की सालाना ट्यूशन फीस मात्र 500 रुपए थी। इसके बाद दो बार 1998 तथा 2008 में फीस वृद्धि की गई। 2008 में फीस को 25 हजार से बढ़ाकर 50 हजार रुपए किया गया था। अभी आईआईटी के प्रत्येक छात्र पर प्रतिवर्ष 2 लाख रुपए खर्च हो रहे हैं। शेष राशि के लिए केंद्र सरकार अनुदान देती है।
गरीब छात्रों पर दोहरा भार
अगले साल से यह वृद्धि लागू हुई तो आईआईटी का सपना देखने वाले आर्थिक रूप से कमजोर सामान्य वर्ग के छात्र-छात्राओं को महंगी कोचिंग के बाद 4 साल तक आईआईटी की ज्यादा फीस भी देनी होगी। इससे छात्रों व अभिभावकों पर दोहरा आर्थिक भार पड़ेगा।
अभी कितनी फीस
नए आईआईटी में ट्यूशन फीस, संस्थानों व लाइब्रेरी की काशनमनी, मैस खर्च, हॉस्टल किराया, परीक्षा शुल्क, जिमखाना, मेडिकल, रजिस्ट्रेशन, एकेडमिक फीस, स्टूडेंट वेलफेयर, मेडिकल एग्जाम आदि शुल्क को मिलाकर औसत 40 से 41 हजार रुपए प्रति सेमेस्टर फीस ली जा रही है। यानी एक साल में करीब 83,400 रुपए फीस के हिसाब से 4 साल में कुल फीस 3.33 लाख रुपए फीस दे रहे हैं। अब ट्यूशन फीस सालाना 50 हजार से बढ़ाकर 90 हजार रुपए करने का प्रस्ताव है। इससे कुल फीस बढ़कर 4.93 लाख रुपए हो जाएगी।
टॉप-10 संस्थानों की फीस लाखों में
दुनियाभर में शीर्ष-10 रैंक वाले उच्च तकनीकी संस्थानों में वार्षिक ट्यूशन फीस 20 से 25 लाख रुपए है।मैसाच्यूसेट्स इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (एमआईटी) में वार्षिक फीस 22.55 लाख रुपए है, जबकि अमेरिका के कार नेगी मेलोन इंस्टीट्यूट की फीस 24.23 लाख रुपए सालाना तक है। स्टेनफोर्ड यूनिवर्सिटी में वार्षिक फीस करीब 21.86 लाख रुपए है।
'आईआईटी संस्थानों का ऑपरेटिंग खर्च हर साल तेजी से बढ़ रहा है। ट्यूशन फीस में वृद्धि से बजट संतुलित करने में मदद मिलेगी।'
- प्रो.देवांग खाखर, निदेशक, आईआईटी,मुंबई