किसी भी भाजपा नेता को क्षेत्र में न घुसने की चेतावनी
सरकार पर वादों से मुकरने का आरोपहोडल (ब्यूरो)। जिले में प्रदर्शन कर रहे अतिथि अध्यापकों ने गुरुवार को भाजपा निगरानी समिति के चेयरमैन जगपाल मांडोत से मुलाकात की और अपनी मांगें रखीं। अतिथि अध्यापक चेयरमैन जगपाल मांडोत से पार्टी कार्यालय पर मिले। अतिथि अध्यापक केशव देव, फतेहराम, श्याम सुन्दर व चंद्रप्रकाश ने मांडोत से कहा कि भाजपा के पूर्व प्रदेशाध्यक्ष रामविलास शर्मा ने पार्टी के सत्ता में आने से पहले अतिथि अध्यापकों को लिखित आश्वासन दिया था कि अतिथि अध्यापकों को नियमित किया जाएगा। लेकिन अब सरकार वादे से मुकर रही है।www.facebook.com/teacherharyana (Recruitment , vacancy , job , news)
जातिगत जनगणना के आंकड़े होंगे जारी, पहले समीक्षा होगी
.नई दिल्ली | चौतरफादबाव के बीच सरकार जातिगत जनगणना के आंकड़े जारी करने को तैयार हो गई है। लेकिन पहले इनकी समीक्षा होगी। इसके लिए नीति आयोग के उपाध्यक्ष अरविंद पनगड़िया की अध्यक्षता में एक कमेटी बनाई गई है। आंकड़े 46 लाख जातियों, उपजातियों, गोत्रों के वर्गीकरण के बाद जारी किए जाएंगे।
राज्यों से कुछ जातियों को लेकर समीक्षा रिपोर्ट मांगी गई है। यह फैसला प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में गुरुवार को हुई कैबिनेट की बैठक में लिया गया। बैठक के बाद वित्त मंत्री अरुण जेटली ने प्रेस काॅन्फ्रेंस कर यह जानकारी दी।
अस्थायी मान्यता प्राप्त 3200 निजी स्कूलों को राहत
.मुख्यमंत्री के साथ वार्ता के बाद एक साल छूट देने की बनी सहमति राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़ : प्रदेश के अस्थायी मान्यता प्राप्त 3200 निजी स्कूलों के लिए राहत भरी खबर है। सरकार ने स्कूलों को स्थायी मान्यता के लिए एक साल की छूट देने का निर्णय लिया है। मुख्यमंत्री मनोहर लाल के साथ पौने घंटे तक चली वार्ता के बाद
इस पर सहमति बनी है। सभी स्कूल संचालकों को अपने-अपने जिलों में जिला शिक्षा अधिकारियों के पास सादे कागज पर एक वर्ष की छूट देने के लिए आवेदन करना होगा। इसके लिए कोई फार्म भरने की जरूरत नहीं है। स्कूलों के आवेदन करने के बाद स्कूल शिक्षा बोर्ड दाखिला ले चुके छात्रों के पंजीकरण के लिए वेबसाइट खोल देगा। अस्थायी मान्यता प्राप्त निजी स्कूलों में लगभग दस लाख छात्र दाखिला ले चुके हैं। प्रदेश सरकार ने उन 1206 स्कूलों को तो एक वर्ष की मोहलत स्थायी मान्यता के लिए दे दी थी, जिनकी अर्जियां जिला शिक्षा अधिकारियों के पास लंबित हैं। बाकी किसी स्कूल को स्थायी मान्यता के लिए एक वर्ष का समय नहीं
दिया गया था। इससे निजी स्कूल संचालक गुस्सा गए और बच्चों का भविष्य खराब होने से बचाने को वीरवार सुबह पंचकूला स्थित शिक्षा निदेशालय पर धरना दिया।
18 को गेस्ट टीचरों की महाआक्रोश रैली
अनशनकारी सुरेंद्र कलां की बिगड़ी तबियतसरकार को झुकाने के लिए गेस्ट टीचर अब नई रणनीति पर काम करने की तैयारी में
अमर उजाला ब्यूरो
महेंद्रगढ़। शिक्षामंत्री के गृह जिले में पिछले एक माह से महापड़ाव डाले गेस्ट टीचर 18 जुलाई को महाआक्रोश रैली करेंगे। सरकार को झुकाने के लिए गेस्ट टीचर अब नई रणनीति के तहत काम करने की तैयारी में हैं।
24 दिन से अनशन पर बैठे गेस्ट टीचरों की अभी तक एक भी सीधी वार्ता शिक्षामंत्री और मुख्यमंत्री से नहीं हो पाई है। वहीं अनशनकारियों की लगातार बिगड़ती हालत भी कोर कमेटी के लिए दिक्कत पैदा कर रही है। ऐसे में गेस्ट टीचर अब महाआक्रोश रैली करेंगे। रैली के लिए सभी ब्लाक प्रधानों की जिम्मेदारियां प्रदेशाध्यक्ष ने लगाई है। अतिथि अध्यापक संघ के प्रदेशाध्यक्ष राजेंद्र शास्त्री ने महापड़ाव को एक माह पूरा होने पर कहा कि वे अंतिम सांस तक अपने हक की लड़ाई जारी रखेंगे। शास्त्री ने कहा कि सरकार के इशारे पर कुछ लोग तरह-तरह के षड्यंत्रों के माध्यम से उन्हें बदनाम करने की कोशिश कर रहे हैं। लेकिन वो उनका ये बता देना चाहते हैं कि इस सरकार में बैठै मंत्रियों की फितरत में सिर्फ धोखा देना है, उन्हें ऐसे षंडयंत्रों को सरकार से कोई लाभ मिलने वाला नहीं है।
अनशन पर बैठी भिवानी जिले की महिला अध्यापक सुरेंद्र कलां की तबियत पिछले दो दिन से लगातार बिगड़ रही है। प्रशासन के लाख प्रयास करने के बावजूद भी सुरेंद्र कलां जिद पर अड़ी हुई है कि वो सरकारी ट्रीटमेंट नहीं लेंगी। गौरतलब है कि सुरेंद्र कलां घोषणा कर चुकी हैं कि अगर अनशन के दौरान उसकी मौत होती है तो उसका शरीर रिसर्च के लिए रोहतक पीजीआई को दे दिया जाए। सुरेंद्र कलां को ट्रीटमेंट देना प्रशासन के लिए भी किसी चुुनौती से कम नहीं है।
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