बिना अनुभव वालों को लगा दिया सहायक प्रोफेसर


 बिना अनुभव वालों को लगा दिया सहायक प्रोफेसर

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रवि हसिजा, जींद 
कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय में हंिदूी के असिस्टेंट प्रोफेसर की नियुक्ति प्रक्रिया में शैक्षणिक योग्यता को दरकिनार कर साक्षात्कार और विषय ज्ञान में अत्यधिक नंबर देकर चहेतों की नियुक्ति की गई। जनरल कैटेगरी के अलावा एससी कैटेगरी
में भी अधिक शैक्षणिक योग्यता वाले आवेदकों को साक्षात्कार व अन्य में कम नंबर देकर उन्हें बाहर का रास्ता दिखा दिया गया। जिन आवेदकों का चयन किया गया है, उनकी शैक्षणिक योग्यता अन्य आवेदकों से काफी कम है। इसी प्रकार बिना अनुभव रखने वाले में नाम डाला गया।1पटियाला की शिकायत ने की मांग की है। उनके तंबर 2012 में कुवि के वीसी डॉ. डीडीएस संधू के नेतृत्व में चयन समिति ने उक्त नियुक्तियां की थी। जनरल व एससी कैटेगरी के एक-एक पद के लिए कुल 151 उम्मीदवारों ने साक्षात्कार दिया। जनरल कैटेगरी में डॉ. वंदना शर्मा व एससी कैटेगरी में डॉ. हरिओम को चुना गया, जबकि इन दोनों की शैक्षणिक योग्यता अन्य आवेदकों से काफी कम थी। इन्हें साक्षात्कार व विषय ज्ञान में कम  चयनित ही नहीं किया गया। जनरल कैटेगरी में शैक्षणिक रिकॉर्ड एवं अनुसंधान प्रदर्शन के ऑब्जेक्टिव मापदंड में सबसे अधिक 50
में से 48 अंक डॉ. सुदेश कुमारी को दिए गए हैं। विषय ज्ञान में उन्हें चार, अनुभव में चार तथा साक्षात्कार में छह अंक देकर कुल 62 अंक दिए गए। जबकि इस पद पर चयनित की गईं डॉ. वंदना शर्मा को  एवं अनुसंधान प्रदर्शन के ऑब्जेक्टिव मापदंड में 50 में से 22 अंक मिले हैं। लेकिन विषय ज्ञान में 25 में से 18 व साक्षात्कार में 20 में से 22 अंक देकर उनके 67 अंक बना दिए गए जिसके बाद उनका चयन कर लिया गया। शैक्षणिक रिकॉर्ड एवं अनुसंधान प्रदर्शन के ऑब्जेक्टिव मापदंड में मुकेश वरुण व रू¨पद्र शर्मा को 37, डॉ. दीनदयाल को 23, डॉ. प्रियंका शर्मा को 32, गीता सिंधू को 23, ज्योति को 27 व अजायब सिंह को 36 नंबर मिले, लेकिन इन्हें साक्षात्कार व विषय ज्ञान में कम नंबर देकर बाहर का रास्ता दिखा दिया गया।1एससी कैटेगरी में चुने गए डॉ. हरिओम के शैक्षणिक रिकॉर्ड एवं अनुसंधान प्रदर्शन के ऑब्जेक्टिव मापदंड में 16 अंक हैं। विषय ज्ञान में 17, अनुभव में शून्य तथा साक्षात्कार में 18 अंक देकर उन्हें कुल 51 नंबर दिए गए। इसी कैटेगरी में शैक्षणिक रिकॉर्ड एवं अनुसंधान प्रदर्शन के ऑब्जेक्टिव मापदंड में गुरबचन सिंह के 31, पूनम के 28, डॉ. सुरेश के 16, सुशील कुमार के 19, नीरू बाला के 17, सतीश कुमार के 20, पूनम के 28 नंबर बने, लेकिन इन्हें साक्षात्कार व विषय ज्ञान में कम नंबर देकर बाहर कर दिया गया।1अनुभव शून्य होने पर भी चयन : एससी कैटेगरी में चुने गए डॉ. हरिओम को अनुभव में शून्य अंक मिले। इसके बावजूद विषय ज्ञान व साक्षात्कार में अधिक नंबर देकर उन्हें चयनित कर लिया गया। इसी प्रकार1वेटिंग सूची में चयनित
डॉ. पूनम को भी अनुभव में शून्य अंक दिए गए थे, लेकिन साक्षात्कार व विषय ज्ञान में अधिक नंबर देकर उनका नाम वेटिंग सूची में डाला गया

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रिजल्ट घोषित नहीं किया तो छात्रों ने केयू परीक्षा शाखा को जड़ दिया ताला

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भास्कर न्यूज | कुरुक्षेत्र
रिजल्टआउट नहीं करने से गुस्साए विद्यार्थियों ने कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी (केयू) की परीक्षा शाखा पर ताला जड़ दिया।बीसीए चौथे सेमेस्टर, रिअपीयर वाले स्टूडेंट्स को हो रही ज्यादा परेशानी   साथ ही छात्र संगठन इनसो के साथ मिलकर केयू प्रशासन के खिलाफ खूब नारेबाजी की। विद्यार्थियों ने कहा कि केयू  परीक्षा शाखा के परिणाम घोषित करने के कारण उनका भविष्य
खराब हो जाएगा। प्रदर्शन में छात्रों के साथ उनके परिजन भी शामिल रहे। परिजनों ने कहा कि जब तक उनके बच्चों को परिणाम मिलेगा तो वे आगे दाखिला कैसे ले पाएंगे। प्रदर्शनकारी छात्रों की पुलिस और परीक्षा शाखा के कंट्रोलर से बहस भी हुई। छात्रों ने कहा कि वे काउंसलिंग में हिस्सा भी नहीं ले पा रहे हैं। इस दौरान किसी ने कंट्रोलर डॉ. पंकज गुप्ता का पर्स भी
निकाल लिया। करीब एक घंटे बाद छात्रों ने ताला खोला।एमएससी कंप्यूटर साइंस के लिए आवेदन करने वाले छात्र संदीप कृष्ण नेबताया कि बीसीए चौथे सेमेस्टर का उनका परिणाम अभी तकघोषित नहीं हुआ है। जिसके कारण वे एमएससी कंप्यूटर साइंस कीगुरुवार को हुई काउंसलिंग में हिस्सा नहीं ले पाए। वहीं, बीएससीकंप्यूटर साइंस के छात्र सुबेंदु मेहरा ने बताया कि उन्हें एमएससी में दाखिला लेना है, लेकिन गोपनीय परिणाम भी नहीं दिया जा रहा। पिछले तीन दिन से उसने फीस भी भरी हुई है। छात्रा के परिजन परमजीत सिंह ने कहा कि उनकी बेटी की बीए दूसरे सेमेस्टर में रिअपीयर थी, जिसका पेपर दिया है, लेकिन परिणाम अभी तक नहीं निकाला। छात्र नितीश, मौलिक, संदीप, कविता, प्रिया और पूनम ने
बताया कि उन्होंने गोपनीय परिणाम लेने के लिए फीस भी भरी है, लेकिन परिणाम नहीं मिल रहा। ऐसे में वे कहां जाएं।
विद्यार्थियों ने कहा कि तीन दिन से परीक्षा शाखा के चक्कर काट रहे हैं, लेकिन अभी तक समाधान नहीं हो पाया। छात्रों ने
कहा कि एक पेपर में रिअपीयर आने की सजा उन्हें दी जा रही है। वहीं, केयू वीसी डॉ. डीडी एस संधू ने कहा कि वे इस मामले में पहले परीक्षा शाखा के कंट्रोलर से बातचीत कर पूरी स्थिति के बारे में पता करेंगे। इसके बाद ही काउंसलिंग की डेट बढ़ाने संबंधी कोई फैसला लिया जाएगा।एक पेपर खराब हो गया था, जिसके कारण अब केयू प्रशासन उनका भविष्य भी परिणाम निकालकर खराब कर रहा है। प्रशासन तर्क दे रहा है कि अंतिम सेमेस्टर का परिणाम घोषित हो गया है, लेकिन जब तक उनका रिअपीयर का परिणाम नहीं आएगा तब तक अंतिम सेमेस्टर के परिणाम का भी कोई लाभ नहीं है।



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