महापड़ाव खत्म,आंदोलन जंतर-मंतर पर
महेंद्रगढ़। देवीलाल पार्क में 32 दिन से चल रहा गेस्ट टीचरों महापड़ाव शनिवार को महा आक्रोश रैली के बाद खत्म हो गया। गेस्ट टीचर अब दिल्ली से आंदोलन चलाकर सरकार को झुकाने का प्रयास करेंगे। गेस्ट टीचर की रैली को देखते हुए पहले ही प्रशासन ने पूरे बंदोबस्त किए गए थे। शांतिपूर्वक खत्म हुए महापड़ाव के बाद प्रशासन ने भी राहत की सांस ली है।
वहीं दूसरी और महाआक्रोश रैली में गेस्ट के समर्थन में बाबा मंशा ब्रह्मचारी और दिल्ली में पांच बार विधायक रह चुके जयकिशन वाल्मीकि पहुंचे। उन्होंने कहा कि वे गेस्ट टीचर के साथ हैं। दिल्ली में अगर गेस्ट टीचर आंदोलन चलाते हैं तो वे उनका समर्थन करेंगे। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार झूठे व खोखले वायदे व दाव करते आ रही है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार गेस्ट टीचर को पक्का करने में इसलिए कतरा रही है क्योंकि इससे उनके भ्रष्टाचार के रास्ते बंद हो जाएंगे।
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पैदल मार्च शुरु
महेंद्रगढ़(ब्यूरो)। देवीलाल पार्क में पिछले 32 दिन से चल रहा गेस्ट टीचरों महापड़ाव शनिवार को महाआक्रोश रैली के बाद खत्म हो गया। गेस्ट टीचरों ने दिल्ली जंतर-मंतर से आंदोलन चलाकर सरकार को झुकाने के लिए नई रणनीति के तहत पैदल मार्च शुरू कर दिया। पैदल मार्च से पहले कोर कमेटी ने बैठक कर यह निर्णय लिया।
महेंद्रगढ़ में गेस्ट टीचर के अनशन को 26 दिन हो गए थे। अभी तक सरकार ने अभी तक सीधी बातचीत गेस्ट टीचर के साथ नहीं की है। इसलिए महाआक्रोश रैली में गेस्ट टीचर ने फैसला किया वे सरकार से उम्मीद छोड़कर कानून का ही सहारा लेंगे। साथ ही अहिंसात्मक तरीके से अपने आंदोलन को दिल्ली से जारी रखेंगे।
प्रदेशाध्यक्ष राजेंद्र शास्त्री ने रैली में कहा कि हजारों गेस्ट टीचर, कर्मचारी संगठन और खाप पंचायतें दबाव बना रही हैं कि अनशन तुड़वाया जाए क्योंकि सरकार हठधर्मिता पर आ गई है। अनशनकारी साथियों की जिद है कि वे अनशन को खत्म नहीं करेंगे। अनशनकारियों को दिल्ली के लिए शनिवार को देर सायं एसी बस में रवाना किया गया।
पैदल मार्च में उमड़ा हुजूम ः
आंदोलन को दिल्ली डायवर्ट होने करने के निर्देशों पर गेस्ट टीचर पैदल रवाना हो गए। गेस्ट टीचरों का हुजूम दिल्ली सोमवार तक पहुंच सकता है। गेस्ट टीचर दादरी-झज्जर के रास्ते ही दिल्ली जाएंगे। वहीं जो गेस्ट टीचर महेंद्रगढ़ नहीं आए, उन्हें पहले ही दिल्ली के जंतर-मंतर के लिए रवाना कर दिया था।
महेंद्रगढ़ में पड़ाव खत्म कर दिल्ली जा रहे गेस्ट को नजफगढ़ में रोका
बहादुरगढ़/बादली। पिछले एक माह से महेंद्रगढ़ में महापड़ाव पर बैठे गेस्ट टीचर्स शनिवार को दिल्ली कूच कर गए। इसकी सूचना मिलते ही दिल्ली और हरियाणा पुलिस ने टीचर्स को नजफगढ़ बार्डर पर रोक लिया। इसके बावजूद बड़ी संख्या में अतिथि अध्यापक अलग-अलग समूह में अन्य रास्तों से दिल्ली रवाना हुए। गेस्ट टीचर्स को रोकने के लिए ढांसा बार्डर पर भी कड़े इंतजाम किए थे, लेकिन वे यहां पहुंचे ही नहीं।
अतिथि अध्यापक और उनके सैकड़ों साथियों के जंतर-मंतर के लिए निकलने की सूचना पर बहादुरगढ़ पुलिस को मिली तो उन्हें रोकने के लिए डीएसपी कप्तान सिंह की अगुआई में काफी संख्या में पुलिस कर्मी ढांसा बार्डर पहुंच गए। बहादुरगढ़ के एसडीएम अमरदीप जैन भी मौके पर मौजूद रहकर सारी स्थिति पर नजर रखे रहे। बार्डर पर बेरिकेड्स लाए गए। सिविल ड्रेस में भी भारी संख्या में पुलिस कर्मी तैनात किए गए। उधर, झज्जर पुलिस की सूचना पर दिल्ली पुलिस ने बार्डर पर दिल्ली की सीमा में मोरचा संभाल लिया। दिल्ली पुलिस की अगुआई जाफरपुर थाना प्रभारी सुधीर ने की। अध्यापकों को झज्जर होकर ढांसा बार्डर आना था। इसलिए झज्जर जिला पुलिस ने झज्जर से ढांसा बार्डर के पूरे रास्ते में अपने कर्मचारी तैनात किए थे। झज्जर से बार्डर की तरफ अतिथियों के नहीं आने की सूचना मिलने पर करीब 9 बजे बार्डर पर तैनात पुलिस भी इधर-उधर हो गई। डीएसपी कप्तान सिंह ने बताया कि अध्यापक ढांसा बार्डर की तरफ नहीं आ रहे।
उधर, अतिथि अध्यापक संघ के अध्यक्ष राजेंद्र शास्त्री ने रात करीब साढ़े नौ बजे अमर उजाला से बातचीत में कहा कि उन्हें दिल्ली नहीं जाने दिया जा रहा। वे अपने साथी 11 अनशनकारी अध्यापकों का अनशन समाप्त कराने के लिए जंतर-मंतर जाना चाहते थे, लेकिन सरकार ने ढांसा बार्डर पर भारी संख्या में पुलिस तैनात की है।
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