प्रदेश के सरकारी स्कूलों में अब होगा इंटरनेट
जागरण संवाददाता, सिरसा :
हरियाणा के सरकारी स्कूल अब डिजिटल हरियाणा की राह पर
चलेंगे। इतना ही नहीं स्कूलों में विद्यार्थियों को स्मार्ट रूम के अंदर
इटरनेट की भी सुविधा मिलेगी। कहीं न कहीं शिक्षा निदेशालय
की इस पहल से जहा विद्यार्थियों का स्मार्ट क्लास में पढ़ने का
सपना पूरा हो सकेगा। वहीं वे पढ़ाई के दौरान तकनीक से भी रूबरू
हो सकेंगे।
स्कूलों में बच्चों को तकनीक से अवगत करवाने के लिए विभाग
द्वारा कुशल स्टाफ भी रखा जाएगा, जो विद्यार्थियों को
शिक्षित करने का काम करेगा। यदि निदेशालय की यह योजना
परवान चढ़ती है तो सरकारी स्कूल में पढ़ने वाले विद्यार्थी किसी
मायने में निजी स्कूलों से कम नहीं रहेगे। मौलिक शिक्षा निदेशालय
द्वारा इसको लेकर सूबे के 490 स्कूलों का चयन किया गया है,
जिनमें स्मार्ट क्लास रूम बनाए जाएंगे। प्रथम चरण में प्रत्येक ब्लॉक के
पाच सरकारी स्कूलों को स्मार्ट क्लास से लैस किया जाएगा।
साथ ही स्मार्ट क्लास को इंटरनेट सुविधा से जोड़ा जाएगा।
ग्रामीण क्षेत्रों के स्कूलों में 02 मेगा बाइट प्रति सेकेंड की
कनेक्टिविटी उपलब्ध कराई जाएगी।
डाइट में भी होगी इटरनेट की कनेक्टिविटी
वहीं राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद् (एससीईआरटी)
ने भी सात डाइट की सूची मागी है। निदेशालय के डायरेक्टर ने
सभी जिला शिक्षा अधिकारियों को इस बाबत एक पत्र भेजकर
सूची तैयार करने के निर्देश दिए है। पत्र के अनुसार डाइट में 10
मेगाबाइट प्रति सेकेंड इंटरनेट कनेक्टिविटी की सुविधा होगी। इसके
लिए 512 किलोबाइट प्रति सेकेंड का बैंड लगाया जाएगा। बता दें
कि एजुकेशन एंड रिसर्च नेटवर्क (ईआरनेट) द्वारा तैयार किए इस
प्रोजेक्ट को लेकर शिक्षा निदेशालय गंभीर दिख रहा है।
स्मार्ट क्लास में स्मार्ट शिक्षकों की तैनाती होगी। साथ ही
डाइट व स्कूल में एक-एक नोडल अधिकारी नियुक्त किया जाएगा।
उपकरणों के रख रखाव व सुरक्षा का जिम्मा भी इन्हीं के कंधों पर
होगा।
-सुरेद्र शर्मा,उप जिला शिक्षा अधिकारी।
www.facebook.com/teacherharyana www.teacherharyana.blogspot.in (Recruitment , vacancy , job , news)
जागरण संवाददाता, सिरसा :
हरियाणा के सरकारी स्कूल अब डिजिटल हरियाणा की राह पर
चलेंगे। इतना ही नहीं स्कूलों में विद्यार्थियों को स्मार्ट रूम के अंदर
इटरनेट की भी सुविधा मिलेगी। कहीं न कहीं शिक्षा निदेशालय
की इस पहल से जहा विद्यार्थियों का स्मार्ट क्लास में पढ़ने का
सपना पूरा हो सकेगा। वहीं वे पढ़ाई के दौरान तकनीक से भी रूबरू
हो सकेंगे।
स्कूलों में बच्चों को तकनीक से अवगत करवाने के लिए विभाग
द्वारा कुशल स्टाफ भी रखा जाएगा, जो विद्यार्थियों को
शिक्षित करने का काम करेगा। यदि निदेशालय की यह योजना
परवान चढ़ती है तो सरकारी स्कूल में पढ़ने वाले विद्यार्थी किसी
मायने में निजी स्कूलों से कम नहीं रहेगे। मौलिक शिक्षा निदेशालय
द्वारा इसको लेकर सूबे के 490 स्कूलों का चयन किया गया है,
जिनमें स्मार्ट क्लास रूम बनाए जाएंगे। प्रथम चरण में प्रत्येक ब्लॉक के
पाच सरकारी स्कूलों को स्मार्ट क्लास से लैस किया जाएगा।
साथ ही स्मार्ट क्लास को इंटरनेट सुविधा से जोड़ा जाएगा।
ग्रामीण क्षेत्रों के स्कूलों में 02 मेगा बाइट प्रति सेकेंड की
कनेक्टिविटी उपलब्ध कराई जाएगी।
डाइट में भी होगी इटरनेट की कनेक्टिविटी
वहीं राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद् (एससीईआरटी)
ने भी सात डाइट की सूची मागी है। निदेशालय के डायरेक्टर ने
सभी जिला शिक्षा अधिकारियों को इस बाबत एक पत्र भेजकर
सूची तैयार करने के निर्देश दिए है। पत्र के अनुसार डाइट में 10
मेगाबाइट प्रति सेकेंड इंटरनेट कनेक्टिविटी की सुविधा होगी। इसके
लिए 512 किलोबाइट प्रति सेकेंड का बैंड लगाया जाएगा। बता दें
कि एजुकेशन एंड रिसर्च नेटवर्क (ईआरनेट) द्वारा तैयार किए इस
प्रोजेक्ट को लेकर शिक्षा निदेशालय गंभीर दिख रहा है।
स्मार्ट क्लास में स्मार्ट शिक्षकों की तैनाती होगी। साथ ही
डाइट व स्कूल में एक-एक नोडल अधिकारी नियुक्त किया जाएगा।
उपकरणों के रख रखाव व सुरक्षा का जिम्मा भी इन्हीं के कंधों पर
होगा।
-सुरेद्र शर्मा,उप जिला शिक्षा अधिकारी।
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