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सत्ता परिवर्तन की आहट ने बदली अफसरशाही की चाल
चंडीगढ़। हरियाणा में सत्ता परिवर्तन की आहट से अफसरशाही की चाल बदल गई है। कई साल से बनवास झेल रहे अफसरों को जहां मुख्य धारा में आने का इंतजार है, वहीं मुख्य धारा में तैनात अधिकारियों ने सत्ता परिवर्तन से पहले ही बढ़िया पदों के लिए लाबिंग तेज कर दी है। राज्य में लंबे समय से चौथे तल पर नजर टिकाए बैठे अधिकारियों में मुख्यमंत्री सचिवालय में बैठने की आस जाग गई है।
हालांकि, कुछ अधिकारी पहले इनेलो के दरबार में हाजिरी लगा चुके हैं, लेकिन एग्जिट पोल के रुझान देखने के बाद उन्होंने संघ के पुराने संपर्क साधने शुरू कर दिए हैं। सबसे अधिक लाबिंग मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव के पद के लिए है। राज्य के तीन बड़े अधिकारियों ने संघ के वरिष्ठ पदाधिकारियों से मुलाकात कर ली है, जिसमें से एक अधिकारी का संघ से पुराना पारिवारिक नाता है।
इसका नजारा राज्यपाल कप्तान सिंह सोलंकी के शपथ ग्रहण समारोह में ही देखने को मिल गया था। उस समय हरियाणा के वरिष्ठ अधिकारियों ने मुख्यमंत्री के सामने ही भाजपा के नेताओं से नजदीकियां बढ़ानी शुरू कर दी थीं। नई सरकार में अच्छे पदों पर लगने की लालसा पाले अधिकारियों ने भाजपा के वरिष्ठ नेताओं के साथ तालमेल बिठाना शुरू कर दिया है।
खेमका और कासनी की जिम्मेदारियाें पर जनता की नजर
इन समीकरणों के विपरीत प्रदेश की जनता की नजर उन अधिकारियों पर है, जिन्होंने सरकार में रह कर भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाई है। ऐसे में सरकार जो भी हो हरियाणा के वरिष्ठ आईएएस अधिकारी अशोक खेमका और प्रदीप कासनी को सरकार में क्या रोल मिलता है। इस पर हरियाणा की जनता ने नजरें गड़ा दी हैं।
हालांकि, कुछ अधिकारी पहले इनेलो के दरबार में हाजिरी लगा चुके हैं, लेकिन एग्जिट पोल के रुझान देखने के बाद उन्होंने संघ के पुराने संपर्क साधने शुरू कर दिए हैं। सबसे अधिक लाबिंग मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव के पद के लिए है। राज्य के तीन बड़े अधिकारियों ने संघ के वरिष्ठ पदाधिकारियों से मुलाकात कर ली है, जिसमें से एक अधिकारी का संघ से पुराना पारिवारिक नाता है।
इसका नजारा राज्यपाल कप्तान सिंह सोलंकी के शपथ ग्रहण समारोह में ही देखने को मिल गया था। उस समय हरियाणा के वरिष्ठ अधिकारियों ने मुख्यमंत्री के सामने ही भाजपा के नेताओं से नजदीकियां बढ़ानी शुरू कर दी थीं। नई सरकार में अच्छे पदों पर लगने की लालसा पाले अधिकारियों ने भाजपा के वरिष्ठ नेताओं के साथ तालमेल बिठाना शुरू कर दिया है।
खेमका और कासनी की जिम्मेदारियाें पर जनता की नजर
इन समीकरणों के विपरीत प्रदेश की जनता की नजर उन अधिकारियों पर है, जिन्होंने सरकार में रह कर भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाई है। ऐसे में सरकार जो भी हो हरियाणा के वरिष्ठ आईएएस अधिकारी अशोक खेमका और प्रदीप कासनी को सरकार में क्या रोल मिलता है। इस पर हरियाणा की जनता ने नजरें गड़ा दी हैं।
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