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नहीं लग रही अतिथि अध्यापकों की हाजिरी

www.teacherharyana.blogspot.in
सिरसा, जागरण संवाददाता : प्रदेश के 60 फीसद अतिथि अध्यापकों की हाजिरी कलमबद्ध नहीं हो रही हैं। ये सभी अध्यापक रोज बिना हाजिरी रजिस्टर में नाम दर्ज किए ड्यूटी दे रहे हैं। इन शिक्षकों की चिंता इस बात की है कि बिना हाजिरी लगाए इनकी उपस्थिति कैसे मानी जाएगी? स्कूल मुखिया इस संबंध में विभागीय आदेश का इंतजार कर रहे हैं। यूनियन का दावा है कि 60 प्रतिशत शिक्षकों को हाजिरी लगाने नहीं दी जा रही। विभागीय अधिकारी इसका कारण

भरती की नई नीति को गेस्ट टीचरों ने ठुकराया

चंडीगढ़। जिन गेस्ट टीचरों को फायदा पहुंचाने के लिए मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा के निर्देश पर सरकार ने टीचर भरती करने के लिए दो दिन पहले टीईटी से तीन साल के लिए छूट देकर जो नियम अधिसूचित किए हैं, उससे गेस्ट टीचर भी खुश नहीं हैं।
उन्होंने भी सरकार की पालिसी ठुकरा दी है। खास बात यह है कि नए नियमों को कैबिनेट की बैठक बुलाकर मंजूरी नहीं दिलाई, बल्कि सर्कुलर के जरिए एक-एक मंत्री के पास फाइल भेजकर हस्ताक्षर करवाए गए। सर्कु लर से कराए मंत्रियों के हस्ताक्षर भी कैबिनेट की बैठक मानी जाती है। उधर, टीईटी पास युवा बेरोजगार इसकी शिकायत मानव संसाधन विकास मंत्रालय से करेंगे ।
गेस्ट टीचरों के सिर पर हाईकोर्ट के फैसले के कारण 30 मार्च 2012 को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई से दो दिन पहले जब हटाने की तलवार लटक रही थी तो गेस्ट टीचरों की मुख्यमंत्री, शिक्षा मंत्री गीता भुक्कल और अन्य अफसरों के साथ बैठक में यह फैसला हुआ था कि अगर सुप्रीम कोर्ट से गेस्ट टीचरों को हटाने का आदेश आता है तो उन्हें फौरन राहत देने के लिए नियमों में परिवर्तन कर दिया जाएगा और नई भरती में उन्हें टीईटी से छूट दी जाएगी।
बैठक में भी गेस्ट टीचरों ने सरकार के इस सुझाव को ठुकरा दिया था। इसके बाद सर्कुलर पर मंत्रियों से हस्ताक्षर करवा लिए गए।
इसके बाद स्कूल शिक्षा वित्तायुक्त सुरीना राजन ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले के संदर्भ में नियमों में परिवर्तन पर पुनर्विचार करने के लिए फाइल भेजी तो मुख्य सचिव पीके चौधरी ने फाइल यह कहकर लौटा दी कि कैबिनेट का फैसला हो चुका है।
•कैबिनेट की बैठक न बुलाकर एक-एक मंत्री से कराए थे हस्ताक्षर
हम सरकार के नए सर्विस रूल को पूरी तरह नकारते हैं। हमारी एक ही मांग है कि हमें कैबिनेट बैठक में प्रस्ताव पारित कर एकमुश्त रेगुलर किया जाए। टीईटी से तीन साल के लिए दी गई छूट से हमें कोई फायदा नहीं होने वाला है, क्योंकि पूरे देश से लाखों बेरोजगार आवेदन करेंगे और स्क्रीनिंग टेस्ट से गुजरना पड़ेगा।
राजेंद्र शर्मा, प्रधान महासचिव, गेस्ट टीचर एसोसिएशन, हरियाणा

GT-Maths Master Category me 402 Guest Teachers faltu h


Maths Master Category me 402 Guest Teachers faltu h pr htaye kon ?
Maths Master's Status as on 23.12.2011:
Sanctioned Post of Maths Masters
Net---Direct--Promotee
5535-4428----1107
Working Maths Masters
Net---Direct-Promotee
4807-3946---861
Vacancy of Maths Masters
Net--Direct-Promotee
728--482----246
Guest working on Maths Masters Posts
1130
Net Vacancy of Maths Masters
-402 (Minus 402)



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The Finance Dept. of Haryana approved 5548 Post of Elementary (Middle) School Headmasters as per workload on 06.03.2012. These Posts will be filled up by the way of Promotion from the Master Category within the time period of 3 Months


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court cases about GT -Dalip Bisnoi


SLP(C)...CC 5956-5957/12,etc.

  • 1

    ITEM NOs.MM-2-F COURT NO.2 SECTION IVB
    and MM-2-G

    S U P R E M E C O U R T O F I N D I A
    RECORD OF PROCEEDINGS

    Petitions(s) for Special Leave to Appeal (Civil)....../2012
    CC 5956-5957/12

    (Under Article 136 of the Constitution against the final
    judgment and order dated 30/03/2011 passed by the High Court of
    Punjab & Haryana at Chandigarh in CWP No.6090 of 2010 and
    against the final judgment and order dated 15/03/2012 passed by
    the High Court of Punjab and Haryana at Chandigarh in Civil
    Misc.No.17483 of 2011)

    NARESH KUMAR & ORS.ETC.ETC. Petitioner(s)

    VERSUS

    STATE OF HARYANA & ORS.ETC. Respondent(s)

    (With appln(s) for permission to file SLP and with prayer for
    interim relief )

    WITH SLP(C) NO. 10818 of 2012
    (With appln.(s)for exemption from filing c/c of the impugned
    judgment and permission to place addl.documents on record and
    with prayer for interim relief and office report)

    Date: 30/03/2012 These Petitions were called on for hearing today.

    CORAM :
    HON'BLE MR. JUSTICE ALTAMAS KABIR
    HON'BLE MR. JUSTICE SURINDER SINGH NIJJAR

    For Petitioner(s) Mr. G.E.Vahanvati, A.G.I.
    in SLP(C)10818/12 Mr. H.S. Hooda, A.G.Haryana.
    Mr. Rohit Sharma, Adv.
    Mr. Abhijat P.Medh, AOR.

    Sri Gopal Subramanium, Sr. Adv.
    in SLP(C)..../12 Ms. Indu Malhotra, Sr. Adv.
    CC 5956-5957/12 Ms. Mahalakshmi Pavani, Adv.
    Sri G.Balaji, Adv.
    SLP(C)...CC 5956-5957/12,etc.

    2

    Ms. Chinmaya Chandra, Adv.
    Sri Mukesh Kumar Singh, Adv.
    for M/S.Mahalakshmi Balaji & Co.,Advs.

    For Respondent(s) Mr. K.V. Vishwanathan, Sr. Adv.

चिंतित अभिभावक हाईकोर्ट पहुंचे

चंडीगढ़, जागरण संवाददाता : हरियाणा के स्कूलों में कार्यरत गेस्ट टीचरों के कार्यकाल समाप्त होने की स्थिति में स्कूलों में पढ़ाई कर रहे बच्चों के भविष्य को लेकर उत्पन्न होने वाले संभावित संकट से चिंतित अभिभावकों ने पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट की शरण ली है। बृहस्पतिवार को दायर जनहित याचिका में अभिभावकों ने कहा है कि गेस्ट टीचरों का कार्यकाल समाप्त होने के कारण बच्चों की अगले सत्र की पढ़ाई को लेकर वे चिंतित हैं। मुनीष कुमार व अन्य लोगों की ओर से दायर याचिका पर हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई व न्यायाधीश महेश ग्रोवर पर आधारित खंडपीठ ने सुनवाई की। याचिका में 31 मार्च को गेस्ट टीचरों के कार्यकाल की समाप्ति के बाद पैदा होने वाली स्थिति को उजागर किया गया है। याचिका में कहा गया है कि सरकारी स्कूलों में पढ़ रहे बच्चे अधिकतर गेस्ट टीचरों पर ही निर्भर हैं और ऐसे में यदि इन अध्यापकों को हटा दिया जाता है तो पढ़ाई पर काफी असर पड़ेगा। उन्होंने अदालत से अनुरोध किया है कि सरकार को निर्देश दिए जाएं कि कोई भी कदम उठाने से पहले उचित प्रबंध किए जाएं, ताकि बच्चों की पढ़ाई पर असर न पड़े। खंडपीठ ने प्राथमिक तर्क सुनने के बाद अपने आदेश में कहा कि पहले यह तो देखो कि सरकार आखिर इस मामले में क्या कार्यवाही करती है जिसके बाद देखा जाएगा इस दिशा में आगे क्या कार्यवाही की जा सकती है? हाईकोर्ट ने मामले की सुनवाई 3 अप्रैल तक के लिए टाल दी।

अतिथि अध्यापक राष्ट्रपति से मांगेंगे इच्छा मृत्यु


 प्रदेश के राजकीय स्कूलों में तैनात अतिथि अध्यापक अब राष्ट्रपति को शपथपत्र भेजकर इच्छा मृत्यु की अनुमति लेंगे। अतिथि अध्यापक संघ के जिला प्रधान सुभाष राविश और सीवन खंड के प्रधान राजीव सैनी ने बताया यह फैसला रोहतक की रैली में लिया गया है। फैसले के तहत यदि सरकार ने 31 मार्च तक उन्हें नियमित नहीं किया तो वे 1 अप्रैल को सामूहिक तौर से अप...ने परिजनों सहित राष्ट्रपति को इच्छा मृत्यु का शपथपत्र सौपेंगे। इसके लिए अध्यापकों ने शपथ बनवाने की प्रक्रिया भी शुरू कर दी है। अब जैसे ही प्रदेश कमेटी का आदेश होगा तो सभी अध्यापक उसी अनुरूप अपना शपथ पत्र राष्ट्रपति को भेजेंगे। अध्यापक नेताओं ने कहा कि करीब 7 साल तक राजकीय स्कूलों में अपनी सेवाएं देने के बाद यदि सरकार उनकी सेवाएं बंद करती है तो उनके पास आत्महत्या के अलावा कोई रास्ता नहीं बचता है। उन्होंने बताया कि जिस समय 2005 में अतिथि अध्यापकों की नियुक्ति की गई तो उस समय टेट या एच टेट की कोई शर्त नहीं थी। योग्यता पूर्ण करने वाले अभ्यर्थियों को ही अतिथि अध्यापक नियुक्त किया गया था। सरकार चाहे तो पॉलिसी बनाकर उनकी सेवाओं को नियमित कर सकती है। सुभाष राविश ने बताया कि अब अतिथि अध्यापकों ने संघर्ष का रास्ता तैयार किया है। अध्यापकों द्वारा तीन-तीन जिला मुख्यालयों पर भूख हड़ताल शुरू की है जिसमें शनिवार को मेवात, पलवल और फरीदाबाद जिला के अध्यापकों ने भाग लिया है। इसी क्रम में पूरे प्रदेश में जिला मुख्यालयों पर भूख हड़ताल की जाएगी। गौरतलब है कि प्रदेश में करीब 15500 अतिथि अध्यापक कार्यरत हैं। अब उच्च न्यायालय द्वारा अतिथि अध्यापकों के कार्यकाल बढ़ाने पर रोक लगाए जाने से अतिथि अध्यापक बुरी तरह से टूटे हुए नजर आ रहे हैं। इसके साथ ही सरकार द्वारा नियमित अध्यापकों की नियुक्ति बारे न्यायालय में हलफनामा प्रस्तुत किए जाने से नियमित अध्यापकों की नियुक्ति प्रक्रिया भी शीघ्र शुरू होने वाली है।

अतिथि अध्यापक मामले में लागू रहेगा पूर्व आदेश, नियमित भर्ती में राहत,,मिला 322 दिन का समय

मंगलवार का दिन राज्य सरकार के लिए हाई कोर्ट में राहत देने वाला रहा। राज्य में अध्यापकों की भर्ती के लिए दायर सभी याचिकाओं का निपटारा करते हुए हाई कोर्ट ने सरकार को नियमित भर्ती के लिए 322 दिन का समय दे दिया। अतिथि अध्यापकों के मामले में पूर्व का आदेश लागू होगा। मामले की सुनवाई के दौरान सरकार ने कोर्ट को बताया कि हरियाणा वित्त विभाग ने राज्य में 19902 नियमित ग्रेजुएट टीचर भर्ती के प्रस्ताव पर अपनी मंजूरी दे दी है। माध्यमिक शिक्षा विभाग के निदेशक समीर पाल सरों ने पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट में पेश किए गए हलफनामे में यह जानकारी दी है। हलफनामे में कहा गया है कि यह भर्तियां जेबीटी के 9870 पदों के अलावा हैं। मंगलवार को मामले की सुनवाई के दौरान चीफ जस्टिस रंजन गोगोई एवं जस्टिस महेश ग्रोवर की खंडपीठ ने हलफनामे को रिकार्ड में ले लिया। इसके साथ ही खंडपीठ ने तीन याचिकाओं का निपटारा कर दिया। याचिका की सुनवाई के दौरान हरियाणा सरकार के काउंसिल ने कहा कि उपरोक्त मंजूर पदों में से सरकार पहले चरण में 14216 पदों को भरेगी। इसके लिए करीब चालीस हजार अभ्यर्थियों के हिस्सा लेने की उम्मीद है। हरियाणा सरकार की ओर से भर्ती प्रक्रिया को पूरा करने के लिए हाई कोर्ट से तीन सौ बाइस दिन की मोहलत मांगी और भर्ती प्रक्रिया के लिए उपयोगी समय की टेली भी खंडपीठ के समक्ष रखी। इस आग्रह को स्वीकार करते हुए हाई कोर्ट ने कहा कि सरकार ने कोर्ट में जो अंडरटेकिंग दी है उसके अनुसार भर्ती प्रक्रिया पूरी की जाए। दूसरी याचिका करण सिंह बनाम हरियाणा सरकार के मामले में सरकार की ओर से दिए गए हलफनामे में कहा गया है कि वित्त विभाग ने राज्य के मिडिल स्कूलों में हेडमास्टरों के 377 नए पद भरने के लिए मंजूरी दी है। साथ ही इन स्कूलों में बढ़ते वर्कलोड को देखते हुए सरकार 5548 हेडमास्टरों के पद सृजित किए हैं। इन्हें मास्ट वर्ग से पदोन्नति के जरिये भरा जाएगा। हरियाणा सरकार के काउंसिल ने इन पदों को भरने के लिए हाईकोर्ट से तीन महीने की मोहलत मांगी, जिसे चीफ जस्टिस पर आधारित खंडपीठ ने अपनी सहमति दे दी। मामले की सुनवाई के दौरान अतिथि अध्यापकों के संबंध में उठाए गए सवाल पर खंडपीठ ने कहा कि अदालत ने पहले ही आदेश जारी कर मामले का निपटारा कर दिया है।

अयोग्य टीचर भर्ती करने वाले फंसेंगे

विभाग ने प्रदेश भर से मांगे अयोग्य टीचरों को भर्ती करने वालों के नाम
•अमर उजाला ब्यूरो
कैथल। हरियाणा में दिसंबर 2005 और 2006 में भर्ती के समय अयोग्य अतिथि अध्यापकों का चयन करने वाले स्कूल मुखियाओ...ं और जिम्मेदार अधिकारियों पर कभी भी गाज गिर सकती है। शिक्षा विभाग ने सभी जिलों में पत्र जारी कर मुखियाओं की सूची मांगी है, जिनके कार्यकाल में कागजों में कमी वाले गेस्ट टीचर भर्ती हो गए थे।
दिसंबर 2005 में गांव, ब्लॉक एवं जिलास्तर तथा राज्य स्तर पर भर्ती की गई। स्कूल मुखिया सहित ब्लॉक शिक्षा अधिकारी स्तर के अधिकारियों ने अपने स्तर पर ही कागजों की जांच करके गेस्ट टीचरों को भर्ती कर लिया। बाद में एक गेस्ट टीचर को हटाए जाने के बाद खुलासा हुआ कि कई गेस्ट टीचर कागजों में कमी के बावजूद भी भर्ती हुए हैं। इनके द्वारा पढ़ाए जाने वाले विषय के नियमानुसार कंबीनेशन के लिए भी उनके पास डिग्री नहीं है। इस जांच के बाद विभाग ने सभी जिलों में इन गेस्ट टीचरों के कागजातों की जांच कराई थी।
कैथल में 24 से अधिक अध्यापकों के कागजों में कमी
विभाग से मिली जानकारी के अनुसार इस जांच में कैथल जिले में 24 से अधिक अध्यापकों एवं लेक्चरर के कागजों में कमी पाई जाएगी है। जो भर्ती के समय आवश्यक शर्तों को पूरा नहीं कर पा रहे थे। इसके अतिरिक्त कुछ जेबीटी अध्यापकों की डिग्री को लेकर भी सूची विभाग को बनाकर भेजी गई है।
जिला शिक्षा अधिकारी साधू राम बेरवाला ने बताया कि सरकार द्वारा पॉलिसी की अवहेलना करके भर्ती होने वाले गेस्ट टीचर्स एवं इन गेस्ट टीचर्स को भर्ती करने वाले तत्कालीन अधिकारियों एवं स्कूल मुखियाओं की सूची मांगी है। इसे रिकार्ड से पता लगाकर भेज दिया गया है।
स्कूल शिक्षा विभाग के डायरेक्टर समीर पाल सरों ने फोन पर बताया कि प्रदेश के सभी जिलों से ऐसे अधिकारियों एवं स्कूल मुखियाओं की सूचना मांगी गई है। पूरे प्रदेश से जब पूरी जानकारी

guest teacher

guest tr Asha service terminted by Hon`ble court as she did not possess the prescribed qualification

Order No. 17/49-2012 HRM (1)    Dated : 14-3-12-
Smt. Asha Dudeja filed CWP No. 4676 of 2011 titled as Asha Dudeja V/ sState of Haryana in the Hon'ble Punjab & Haryana High Court at Chandigarh. TheHeadmistress of GMS, Harijan Basti No.2, Faridabad issued notice to Smt. AshaDudeja for terminating her services as she did not possess the prescribed qualification. She obtained stay order from the Hon'ble Court and was allowed tocontinue as Social Study Mistress in the same school. Brief facts of this case are as
under:
She was appointed as Social Study Mistress in GMS, Harijan Basti No.2,
Faridabad on 25.07.2007. She was holding the degree of B.Com. B.Ed at the time ofappointment as guest teacher. She was not having subject combination as perprescribed service rules for the post of S.S.

गेस्ट टीचरों को दिया दोहरा झटका



चंडीगढ़, दयानंद शर्मा : शुक्रवार का दिन हरियाणा के गेस्ट टीचरों के लिए हाई कोर्ट में शुभ नहीं रहा। हाईकोर्ट ने गेस्ट टीचरों का कार्यकाल बढ़ाने व नियमित टीचर की नियुक्ति के लिए छह माह का समय देने की सरकार की मांग ठुकरा दिया दूसरी ओर, नियमों के खिलाफ गेस्ट टीचर की नियुक्ति करने पर हाई कोर्ट ने सरकार व शिक्षा विभाग को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है। सरकार द्वारा टीचरों की नियमित भर्ती के लिए गंभीर न होने पर कड़ा रुख अपनाते हुए कहा कि हाई कोर्ट नियमित टीचर भर्ती करने में सरकार को और समय नहीं दे सकती। सोमवार को मामले की सुनवाई के दौरान हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस की खंडपीठ ने राज्य सरकार की नियमित भर्ती के लिए छह माह का समय और मांगे जाने संबंधी मांग को अस्वीकार कर दिया। कोर्ट ने इस मामले में विस्तृत आदेश जारी करने हेतु अपना फैसला सुरक्षित रख लिया। इस मामले में हाई कोर्ट की डिवीजन बेंच ने 30 मार्च 2010 को दिए गए फैसले में स्पष्ट कर दिया था कि 31 मार्च 2012 के बाद किसी कीमत पर अतिथि अध्यापकों का कार्यकाल आगे नहीं बढ़ाया जा सकेगा। दूसरी तरफ, शिक्षा विभाग में कार्यरत अतिथि अध्यापकों की नियुक्ति में धांधली करने वाले स्कूल मुखिया, खंड शिक्षा अधिकारी व जिला शिक्षा अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग संबंधी याचिका पर राज्य सरकार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है। इस मामले में हाईकोर्ट के वकील एच सी अरोड़ा द्वारा दायर याचिका में कहा गया है कि हाईकोर्ट ने नियमविरुद्ध नियुक्त 750 अतिथि अध्यापकों के खिलाफ कार्रवाई का आदेश पिछले साल अगस्त में दिया था। इसके विपरीतआज तक सरकार ने इनके खिलाफ कोई  इनके वेतन में इजाफा करते हुए अन्य सुविधाएं प्रदान कर दीं। 719 नियुक्तियां नियमों के खिलाफ कार्रवाई नहीं की।

अतिथि अध्यापकों का होगा फेरबदल

शिक्षा विभाग ने शिक्षा अधिकार कानून के तहत प्रदेश के शिक्षकों व विद्यार्थियों का अनुपातीकरण निर्धारित मापदंड के तहत करने के लिए योजना बनाई है। जिन स्कूलों में शिक्षक व विद्यार्थी के निर्धारित अनुपात से शिक्षक अधिक की संख्या में कार्यरत है अब उन स्कूलों से शिक्षकों को दूसरे स्कूलों में भेजा जाएगा।
इसके लिए विभाग ने कागजी कार्रवाई की औपचारिकताएं शुरु कर दी है। अतिथि अध्यापकों का दूसरे स्कूलों में फेरबदल करने के लिए निदेशक मौलिक शिक्षा हरियाणा ने जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी से रिपोर्ट मांगी है। रिपोर्ट में उन स्कूलों के शिक्षकों के बारे में जानकारी मांगी गई है। जो शिक्षक स्कूलों में अनुपातीकरण योजना में शिक्षक व विद्यार्थियों के 1-30 के अनुपात से अधिक संख्या में हैं। अब उन शिक्षकों को दूसरे स्कूलों में भेजा जाएगा जिन स्कूलों में शिक्षकों की संख्या कम है। ताकि विद्यार्थियों लाभांवित हो सके।
बाक्स
ये है जिले में शिक्षकों की संख्या
जिले में 395 राजकीय प्राथमिक पाठशाला है। जिसमें 1286 नियमित व 453 अतिथि अध्यापक कार्यरत है। शिक्षा विभाग द्वारा पहले अनुपातीकरण योजना के तहत जिले के 16 शिक्षकों को एक स्कूल से दूसरे स्कूल में भेजा गया था। अब जिले के 33 अतिथि अध्यापकों के फेरबदल की उम्मीद है। क्योंकि जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी द्वारा निदेशालय को जो रिपोर्ट भेजी गई है। उस रिपोर्ट के अनुसार जिले के 33 शिक्षकों को एक स्कूल से दूसरे स्कूल में भेजा जाएगा।
बाक्स
आठ फरवरी को निदेशालय लेगा निर्णय : डीईईओ
जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी डा. मधुबाला ने कहा कि 24 जनवरी को निदेशालय में हुई बैठक में निदेशक को अतिथि अध्यापकों की अनुपातीकरण योजना के तहत रिपोर्ट सौंपी गई थी। आठ फरवरी को निदेशक मौलिक शिक्षा हरियाणा ने डीईईओ की बैठक बुलाई है। उस बैठक में अतिथि अध्यापकों के फेरबदल का निर्णय लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि शिक्षा विभाग का यह सराहनीय कदम है। क्योंकि इससे जिन स्कूलों में शिक्षकों की कमी के कारण विद्यार्थियों की पढ़ाई बाधित हो रही है। वह सुचारू रुप से चलेगी। फतेहाबाद गेस्ट टीचर यूनियन के जिला प्रधान कप्तान आर्य ने कहा कि अनुपातीकरण का विभाग द्वारा जो निर्णय लिया गया है वह सही निर्णय है। इससे विद्यार्थी लाभांवित होगे।


15 हजार गेस्ट टीचर्स पर लटकी तलवार!+++सुबह 8.30 बजे से लगेंगे सरकारी स्कूल

चंडीगढ़. हरियाणा में 15 हजार गेस्ट टीचर्स के भविष्य पर तलवार लटक रही है। ये टीचर करीब छह लाख बच्चों को पढ़ा रहे हैं। सरकार दुविधा में है। एक तरफ पंजाब व हरियाणा हाईकोर्ट ने शिक्षा विभाग को गेस्ट टीचर्स का कार्यकाल इसी साल 31 मार्च से आगे न बढ़ाने के आदेश दे रखे हैं।


दूसरी तरफ, नए टीचर्स की भर्ती प्रक्रिया धीमी चल रही है और मार्च अंत तक पूरी होने में संशय बना हुआ है। इस बीच, गेस्ट टीचर्स राहत पाने के लिए हालांकि सुप्रीम कोर्ट तो पहुंच गए लेकिन इन्हें राहत मिलेगी या नहीं, अभी स्थिति क्लियर नहीं है। ऐसे में नुकसान बच्चों को ही होगा।


सही मायने में गेस्ट टीचरों का मसला राज्य सरकार के गले की फांस बन गया है। सरकार ने बीते जुलाई में ही गेस्ट टीचरों का मानदेय बढ़ाया था। इसके बाद से गेस्ट टीचरों का मनोबल बढ़ गया था। इस बीच सरकार ने रेगुलर टीचरों की नियुक्ति के लिए हरियाणा शिक्षक भर्ती बोर्ड की अधिसूचना जारी कर दी लेकिन इसके अध्यक्ष और मेंबरों की नियुक्ति कैसे हो, अभी तय होना बाकी है।

सुनवाई 13 को


हाईकोर्ट ने गेस्ट टीचर की नियुक्ति मामले में तिलक राज की ओर से दायर याचिका का पिछले साल 30 मार्च को निपटारा करते समय राज्य के राज्य सरकार को शिक्षा विभाग के माध्यम से निर्देश दिया था कि जेबीटी, मास्टर्स व लेक्चररों की नियुक्ति प्रक्रिया 31 दिसंबर 2011 तक पूरी करने को कहा था।


यह प्रक्रिया तय अवधि में पूरी नहीं हो पाई और इसी के एवज में सरकार के खिलाफ अदालत की अवमानना दर्ज कराई गई और इसकी सुनवाई अब 13 जनवरी को होनी है।

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सुबह 8.30 बजे से लगेंगे सरकारी स्कूल

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